नेशनल काउंसिल ऑफ एजुकेशनल रिसर्च एंड ट्रेनिंग यानी NCERT ने एक विज्ञापन जारी कर कई पदों पर भर्ती हेतु आवेदन मांगे हैं. इन सभी पदों पर भर्ती के लिए वॉक इन इंटरव्यू होगा. वैकेंसी डिटेल कुल पद 9 पद का नाम एडिटोरियल असिसटेंट: 3 एडिटर: 3 असिसटेंट एडिटर: 3 पात्रता एडिटोरियल असिसटेंट: मान्यता प्राप्त यूनिवर्सिटी से बैचलर डिग्री होनी चाहिए. एडिटर: मान्यता प्राप्त यूनिवर्सिटी से मास्टर डिग्री होनी चाहिए. असिसटेंट एडिटर: मान्यता प्राप्त यूनिवर्सिटी से बैचलर डिग्री होनी चाहिए. उम्र एडिटोरियल असिसटेंट: 30 साल से अधिक आयु नहीं होनी चाहिए. एडिटर: 40 साल से अधिक आयु नहीं होनी चाहिए. असिसटेंट एडिटर: 35 साल से अधिक आयु नहीं होनी चाहिए. सैलरी एडिटोरियल असिसटेंट: 29 हजार प्रतिमाह की तनख्वाह मिलेगी. एडिटर: 55 हजार प्रतिमाह की सैलरी मिलेगी. असिसटेंट एडिटर: 25 हजार प्रतिमाह की सैलरी मिलेगी. सेलेक्शन प्रक्रिया इंटरव्यू के आधार पर चयन किया जाएगा; कैसे एप्लाई करें अपने रिज्यूमे, ऑरिजनल और स्वयं प्रमाणित फोटोकॉपीज के साथ इंटरव्यू के लिए जाएं. पासपोर्ट साइज फोटोग्राफ ले जाना ना भूलें. महत्वपूर्ण तिथि: 23 से 25 जनवरी के बीच साक्षात्कार होंगे. स्थान: पब्लिकेशन डिवीजन, NCERT, नई दिल्ली.
13.1.17
कृषि मंत्री की भतीजी समेत चार शिक्षकों की नियुक्ति निरस्त, नियमों की अनदेखी कर दी गयी थी तैनाती
गोंडा : श्री गांधी विद्यालय इंटर कॉलेज रेलवे कॉलोनी में हुई शिक्षकों की नियुक्तियों को आखिरकार जेडी देवीपाटन मंडल उदयराज यादव ने निरस्त कर दिया है। इस संबंध में उन्होंने डीआइओएस को निर्देश जारी किया है। मंडलीय समिति के इस निर्णय को विद्यालय के प्राधिकृत नियंत्रक को भेज दिया है। दरअसल, गोंडा में
नियुक्तियों के इस खेल को दैनिक जागरण ने ही 9 सितंबर, 16 के अंक में प्रथम पेज पर शीर्षक जूनियर से टीईटी, प्राइमरी में नौकरी के जरिये खुलासा किया था। इस पूरे मामले की शुरुआत 7 सितंबर को हुई थी जब जेडी ने गांधी विद्यालय इंटर कॉलेज में छापा मारा। वीडियोग्राफी के बीच हुई कार्रवाई में कई अनियमितताएं सामने आईं थीं। कृषि मंत्री विनोद कुमार की भतीजी अल्पना सिंह, तत्कालीन डीआइओएस वीके दूबे की बेटी नीतू दूबे, प्रधानाचार्य अवधेश चंद्र बाथम के बेटे आशीष कुमार बाथम व अश्वनी मिश्र को नियमों की अनदेखी कर तैनाती दे दी गई है।
नियुक्तियों के इस खेल को दैनिक जागरण ने ही 9 सितंबर, 16 के अंक में प्रथम पेज पर शीर्षक जूनियर से टीईटी, प्राइमरी में नौकरी के जरिये खुलासा किया था। इस पूरे मामले की शुरुआत 7 सितंबर को हुई थी जब जेडी ने गांधी विद्यालय इंटर कॉलेज में छापा मारा। वीडियोग्राफी के बीच हुई कार्रवाई में कई अनियमितताएं सामने आईं थीं। कृषि मंत्री विनोद कुमार की भतीजी अल्पना सिंह, तत्कालीन डीआइओएस वीके दूबे की बेटी नीतू दूबे, प्रधानाचार्य अवधेश चंद्र बाथम के बेटे आशीष कुमार बाथम व अश्वनी मिश्र को नियमों की अनदेखी कर तैनाती दे दी गई है।
केंद्रीय सरकारी कर्मियों की न्यूनतम पेंशन 9000 रुपये
नई दिल्ली : केंद्र सरकार के सेवानिवृत्त कर्मियों को अब न्यूनतम 9,000 रुपये की पेंशन मिलेगी, जो मौजूदा 3,500 रुपये की न्यूनतम पेंशन के दोगुने से अधिक है। केंद्रीय मंत्री जितेंद्र सिंह ने गुरुवार को यह जानकारी दी। वह यहां स्वैच्छिक एजेंसियों की स्थायी समिति (एससीओवीए) की 29वीं बैठक को संबोधित कर रहे थे। बैठक
का आयोजन पेंशन एंड पेंशनर्स वेलफेयर विभाग ने किया था। जितेंद्र सिंह ने बताया कि लगभग 88 फीसद पेंशन खाते आधार से जोड़ दिए गए हैं। देशभर में करीब 50-55 लाख केंद्रीय पेंशनर हैं। सिंह ने कहा, सेवानिवृत्त कर्मियों के ज्ञान, अनुभव और प्रयासों का अच्छा उपयोग करने के लिए संस्थागत तंत्र बनाने की आवश्यकता है। सेवानिवृत्त कर्मचारी भारत के लिए उपयोगी जनबल हैं। हमें उनकी क्षमताओं को उपयोगी दिशा दिखाने की जरूरत है।
का आयोजन पेंशन एंड पेंशनर्स वेलफेयर विभाग ने किया था। जितेंद्र सिंह ने बताया कि लगभग 88 फीसद पेंशन खाते आधार से जोड़ दिए गए हैं। देशभर में करीब 50-55 लाख केंद्रीय पेंशनर हैं। सिंह ने कहा, सेवानिवृत्त कर्मियों के ज्ञान, अनुभव और प्रयासों का अच्छा उपयोग करने के लिए संस्थागत तंत्र बनाने की आवश्यकता है। सेवानिवृत्त कर्मचारी भारत के लिए उपयोगी जनबल हैं। हमें उनकी क्षमताओं को उपयोगी दिशा दिखाने की जरूरत है।
सेवानिवृत्त की फाइलें पूरी करें बीएसए, शिक्षक व शिक्षणोत्तर कर्मचारियों को सेवानिवृत्ति देने की तैयारियां तेज, 14 हजार शिक्षक हो रहे सेवानिवृत्त
राज्य ब्यूरो, इलाहाबाद : बेसिक शिक्षा परिषद के शिक्षक व शिक्षणोत्तर कर्मचारियों को सेवानिवृत्ति देने की तैयारियां तेज हो गई हैं। वित्त विभाग ने यह कार्य देर से शुरू किया है, लेकिन तय समय पर भुगतान कराने का भरसक प्रयास किया जा रहा है। इसलिए बेसिक शिक्षा अधिकारियों को फाइलें पूर्ण करके जल्द भेजने का
निर्देश दिया गया है। इस वर्ष भी प्रदेश भर में करीब 14 हजार शिक्षक सेवानिवृत्त हो रहे हैं।1सेवानिवृत्त शिक्षक व कर्मचारियों को सेवाकाल पूर्ण होते ही सारे देयक भुगतान करने के निर्देश हैं। शासन ने 1995 में यह निर्देश दिया था कि सेवानिवृत्ति के पांच माह पूर्व पेंशन प्रपत्र तैयार कराकर स्वीकृत कर्ता अधिकारी को भेज दिए जाये। इसमें यह भी तर्क दिया गया कि सेवानिवृत्ति के छह माह पहले भविष्य निधि निर्वाह की कटौती बंद हो जाती है। इस दौरान शिक्षक व शिक्षणोत्तर कर्मचारियों की पासबुक व लेजर आदि का मिलान करके कार्यवाही पूरी कर ली जाए। अधिवर्षता आयु पर सेवानिवृत्ति के अनुसार अंतिम बीमा किश्त की कटौती कर बीमा प्रस्ताव प्रेषित कर दिया जाए, ताकि सेवानिवृत्ति के मौके पर भुगतान प्राप्त हो सके।बेसिक शिक्षा परिषद के वित्त नियंत्रक मणि शंकर पांडेय ने बेसिक शिक्षा अधिकारियों को अब निर्देश दिया है कि यदि शिक्षक व कर्मचारियों के पेंशन प्रपत्र अब तक भरे नहीं गए हैं तो जल्द उन्हें पूरा कराकर जिले के वित्त व लेखाधिकारी कार्यालय में जमा करा दें। वहां से पेंशन प्रपत्रों की जांच करके उसे मंडलीय अपर निदेशक कोषागार एवं पेंशन के यहां भेजा जाए। इसमें किसी तरह की देरी न की जाए।
निर्देश दिया गया है। इस वर्ष भी प्रदेश भर में करीब 14 हजार शिक्षक सेवानिवृत्त हो रहे हैं।1सेवानिवृत्त शिक्षक व कर्मचारियों को सेवाकाल पूर्ण होते ही सारे देयक भुगतान करने के निर्देश हैं। शासन ने 1995 में यह निर्देश दिया था कि सेवानिवृत्ति के पांच माह पूर्व पेंशन प्रपत्र तैयार कराकर स्वीकृत कर्ता अधिकारी को भेज दिए जाये। इसमें यह भी तर्क दिया गया कि सेवानिवृत्ति के छह माह पहले भविष्य निधि निर्वाह की कटौती बंद हो जाती है। इस दौरान शिक्षक व शिक्षणोत्तर कर्मचारियों की पासबुक व लेजर आदि का मिलान करके कार्यवाही पूरी कर ली जाए। अधिवर्षता आयु पर सेवानिवृत्ति के अनुसार अंतिम बीमा किश्त की कटौती कर बीमा प्रस्ताव प्रेषित कर दिया जाए, ताकि सेवानिवृत्ति के मौके पर भुगतान प्राप्त हो सके।बेसिक शिक्षा परिषद के वित्त नियंत्रक मणि शंकर पांडेय ने बेसिक शिक्षा अधिकारियों को अब निर्देश दिया है कि यदि शिक्षक व कर्मचारियों के पेंशन प्रपत्र अब तक भरे नहीं गए हैं तो जल्द उन्हें पूरा कराकर जिले के वित्त व लेखाधिकारी कार्यालय में जमा करा दें। वहां से पेंशन प्रपत्रों की जांच करके उसे मंडलीय अपर निदेशक कोषागार एवं पेंशन के यहां भेजा जाए। इसमें किसी तरह की देरी न की जाए।
विज्ञान की पढ़ाई दिलाएगी वजीफा, यूपी बोर्ड के विद्यार्थी ही कर सकेंगे आवेदन
अगर आप विज्ञान वर्ग से पढ़ाई कर रहे हैं तो परेशान होने की जरूरत नहीं है। पठन पाठन के लिए हर माह दो हजार की छात्रवृत्ति मिलेगी। विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी परिषद लखनऊ विज्ञान को बढ़ावा देने के उद्देश्य से प्रदेश भर के दो हजार विद्यार्थियों को छात्रवृत्ति देगा। उप्र राज्य विज्ञान प्रतिभा खोज के नाम से परीक्षा आयोजित कराई जाएगी। छात्रवृत्ति का लाभ लेने के लिए परीक्षार्थियों को विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी की वेबसाइट पर ऑनलाइन आवेदन करने होंगे। आवेदन करने की अंतिम तिथि तीस जनवरी है। छात्रवृत्ति के लिए कक्षा 10, व 12 के विद्यार्थी अप्लाई कर सकते हैं। वहीं छात्र आवेदन के पात्र होंगे जो साइंस वर्ग के हों। परीक्षा की तिथि 20 से 22 फरवरी व इंटरमीडिएट के विद्यार्थियों की 23 व 24 फरवरी निर्धारित है। पूरे प्रदेश में हाईस्कूल के एक हजार और इंटरमीडिएट के एक हजार विद्यार्थी लाभान्वित होंगे। उप्र राज्य विज्ञान प्रतिभा खोज परीक्षा जिला कोआर्डिनेटर धर्मेद्र कुमार सिंह ने बताया कि छात्रवृत्ति की परीक्षा में चयनित होने वाले प्रत्येक विद्यार्थी को दो हजार रुपये छात्रवृत्ति उनके खाते में दी जाएगी। बताया कि इंटर पास होने के बाद यदि विद्यार्थी बीएससी व उसके बाद एमएससी करता है तो उसे निरंतर व अनवरत रूप से छात्रवृत्ति मिलती रहेगी। 1यहां से पूछे जाएंगे प्रश्न : उप्र राज्य विज्ञान प्रतिभा खोज की परीक्षा को लेकर आवेदकों को परेशान होने की जरूरत नहीं है। परीक्षा में उनके कोर्स से ही विज्ञान, गणित, जीव विज्ञान, रसायन विज्ञान के प्रश्न पूछे जाएंगे। कोर्स से इतर कोई प्रश्न नहीं पूछा जाएगा। इसलिए इस परीक्षा में शामिल होने के लिए अतिरिक्त विषय पढ़ने की जरूरत नहीं होगी।
यूपी बोर्ड के विद्यार्थी ही कर सकेंगे आवेदन इलाहाबाद : उप्र राज्य विज्ञान प्रतिभा खोज परीक्षा में यूपी बोर्ड से हाईस्कूल व इंटरमीडिएट करने वाले साइंस वर्ग के विद्यार्थी ही अप्लाई कर सकते हैं। यूपी बोर्ड के विद्यार्थियों को विज्ञान की मुख्य धारा से जोड़ने के लिए यह कवायद की जा रही है। जिला कोआर्डिनेटर के अनुसार अक्सर विज्ञान वर्ग के विद्यार्थी धन के अभाव में विज्ञान संबंधी मॉडल तैयार नहीं कर पाते हैं। विद्यार्थियों की वैज्ञानिक सोच को बढ़ावा देने और अधिक से अधिक मॉडल बनाने के मद्देनजर यह योजना क्रियान्वित की जा रही है।
यूपी बोर्ड के विद्यार्थी ही कर सकेंगे आवेदन इलाहाबाद : उप्र राज्य विज्ञान प्रतिभा खोज परीक्षा में यूपी बोर्ड से हाईस्कूल व इंटरमीडिएट करने वाले साइंस वर्ग के विद्यार्थी ही अप्लाई कर सकते हैं। यूपी बोर्ड के विद्यार्थियों को विज्ञान की मुख्य धारा से जोड़ने के लिए यह कवायद की जा रही है। जिला कोआर्डिनेटर के अनुसार अक्सर विज्ञान वर्ग के विद्यार्थी धन के अभाव में विज्ञान संबंधी मॉडल तैयार नहीं कर पाते हैं। विद्यार्थियों की वैज्ञानिक सोच को बढ़ावा देने और अधिक से अधिक मॉडल बनाने के मद्देनजर यह योजना क्रियान्वित की जा रही है।
शिक्षक भर्ती में बढ़ेगी दावेदारों की भीड़, 16460 शिक्षक भर्ती में अभी तक एक पद के तीन दावेदार आए
राज्य ब्यूरो, इलाहाबाद : बेसिक शिक्षा परिषद के प्राथमिक विद्यालयों में 16460 शिक्षकों की भर्ती में दावेदारों की भीड़ काफी अधिक होने के आसार हैं। 12460 सामान्य व 4000 पदों पर उर्दू भाषा के शिक्षक पद के लिए हुए ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन में ही इसके आसार दिख गए हैं। एक पद के सापेक्ष कहीं दो तो कहीं तीन दावेदार अभी सामने आ चुके हैं, जबकि आवेदन करने की समय सीमा अभी शेष है।
12460 सामान्य शिक्षक भर्ती:
28 दिसंबर दोपहर बाद से ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन एवं आवेदन पत्र भरे जाने की प्रक्रिया चली। इसका ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन गुरुवार शाम पांच बजे पूरा हो गया है, जबकि 16 जनवरी तक आवेदन शुल्क व 18 जनवरी को शाम पांच बजे तक चालान भरते हुए आवेदन पूर्ण करने की अंतिम तारीख तय है। इस पद के लिए 98 हजार 570 अभ्यर्थियों ने पंजीकरण कराया है, जबकि 41 हजार 335 ने आवेदन किया है इसमें 4328 विकलांग हैं। आवेदन पत्र में त्रुटि सुधार अभ्यर्थी 20 से 27 जनवरी शाम पांच बजे तक कर सकेंगे।
4000 उर्दू शिक्षक भर्ती:
30 दिसंबर दोपहर बाद से ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन एवं आवेदन पत्र भरे जाने की प्रक्रिया चल रही है। ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन शुक्रवार शाम पांच बजे तक होगा। 17 जनवरी तक आवेदन शुल्क जमा किया जा सकेगा। 19 जनवरी को शाम पांच बजे तक चालान भरते हुए आवेदन पूर्ण करने की अंतिम तारीख है। इस पद के लिए 20 हजार 244 अभ्यर्थियों ने पंजीकरण कराया है। वहीं, 7371 अभ्यर्थियों ने आवेदन किया है इसमें 493 विकलांग हैं। इसके आवेदन पत्र में त्रुटि सुधार अभ्यर्थी 25 से 31 जनवरी शाम पांच बजे तक किया जा सकेगा।
12 हजार सहायक अध्यापक भर्ती भी कोर्ट के हवाले, 12460 सहायक अध्यापकों की भर्ती भी हाईकोर्ट के निर्णय के अनन्तिम निर्णय के अधीन होगी
इलाहाबाद : बेसिक शिक्षा परिषद के प्राथमिक स्कूलों में 12460 सहायक अध्यापकों की भर्ती भी हाईकोर्ट के निर्णय के अधीन हो गई है। भर्ती प्रक्रिया को चुनौती देने वाली याचिका पर सुनवाई करते हुए न्यायामूर्ति एके गुप्ता ने यह आदेश दिया है। नियुक्ति प्रक्रिया को यह कहते हुए चुनौती दी गई कि नियुक्तियां 15वें संशोधन के आधार पर भी की जानी हैं और मामला सुप्रीम कोर्ट में विचाराधीन है। अधिवक्ता सीमांत सिंह ने बताया कि 12460
सहायक अध्यापक भर्ती के लिए 15 दिसंबर 2016 को शासनादेश जारी किया गया। सचिव बेसिक शिक्षा के निर्देश पर बीएसए ने 23 दिसंबर 2016 को विज्ञापन जारी किया है। विज्ञापन में वहीं चयन प्रक्रिया अपनाई गई है जो 15वें संशोधन में है। याचिका में मांग की गई है कि नियुक्तियां 12वें संशोधन के अनुसार यानी टीईटी प्राप्तांक पर की जाये। कोर्ट को बताया गया कि 16448 सहायक अध्यापक भर्ती भी इसी आधार पर की जा रही है। जिसे कोर्ट ने विचार के लिए स्वीकार करते हुए नियुक्तियां निर्णय के अधीन रखा है। कोर्ट ने 12460 भर्ती मामले को भी निर्णय के अधीन रखते हुए 23 फरवरी को अगली सुनवाई नियत की है।
सहायक अध्यापक भर्ती के लिए 15 दिसंबर 2016 को शासनादेश जारी किया गया। सचिव बेसिक शिक्षा के निर्देश पर बीएसए ने 23 दिसंबर 2016 को विज्ञापन जारी किया है। विज्ञापन में वहीं चयन प्रक्रिया अपनाई गई है जो 15वें संशोधन में है। याचिका में मांग की गई है कि नियुक्तियां 12वें संशोधन के अनुसार यानी टीईटी प्राप्तांक पर की जाये। कोर्ट को बताया गया कि 16448 सहायक अध्यापक भर्ती भी इसी आधार पर की जा रही है। जिसे कोर्ट ने विचार के लिए स्वीकार करते हुए नियुक्तियां निर्णय के अधीन रखा है। कोर्ट ने 12460 भर्ती मामले को भी निर्णय के अधीन रखते हुए 23 फरवरी को अगली सुनवाई नियत की है।
प्राइमरी स्कूलों के भर्ती नियम बदले, अधिकारी अब मनमाने तरीके से शिक्षकों की नियुक्ति नहीं कर सकेंगे
प्रदेश भर के माध्यमिक कॉलेजों से संबद्ध प्राइमरी स्कूल शिक्षकों की भर्ती का नियम बदल गया है। अब जिला विद्यालय निरीक्षक मनमाने तरीके से शिक्षकों की नियुक्ति नहीं कर सकेंगे, बल्कि उन्हें शिक्षा निदेशालय और फिर शासन से अनुमति लेनी होगी। हर कक्षा में एक शिक्षक को ही नियुक्त किया जा सकेगा। नियुक्ति के लिए दो समाचारपत्रों में विज्ञापन जारी करना भी अनिवार्य किया गया है। शासन ने 2012 का आदेश रद कर दिया है।
1प्रदेश के अशासकीय माध्यमिक स्कूलों से संबद्ध प्राइमरी विद्यालयों में अध्यापकों की नियुक्ति के लिए 2012 मई एवं दिसंबर में दो आदेश हुए थे। उसमें नियुक्ति का अधिकार कुछ शर्तो के साथ जिला विद्यालय निरीक्षक को देने का निर्णय हुआ। उसी आधार पर इन दिनों जिला विद्यालय निरीक्षकों ने जनशक्ति, मानक एवं स्कूल में छात्र संख्या अनुकूल न होने पर भी नियुक्तियां कर डाली। इनमें से कई मामले कोर्ट तक पहुंचे जिससे शासन असहज हुआ। अब माध्यमिक शिक्षा के प्रमुख सचिव जितेंद्र कुमार ने नियमों में कर दिया है। नए नियमों के मुताबिक संबद्ध प्राइमरी स्कूल के कक्षा एक से पांच तक में एक अध्यापक प्रति कक्षा नियुक्त होगा। यही नहीं, इन स्कूलों में तैनात रहे शिक्षकों की सेवानिवृत्ति, पदोन्नति या फिर मृत्यु हो जाने पर रिक्त पद के प्रति स्कूल की छात्र संख्या एवं आवश्यकता को ध्यान में रखकर जिला विद्यालय निरीक्षक संस्तुति सहित प्रस्ताव शिक्षा निदेशालय भेजेंगे। यह प्रस्ताव परीक्षण के बाद एक माह के अंदर शासन को भेजा जाएगा। शासन रिक्त पदों की पूर्ति करने का अनुमति पत्र डीआइओएस व संबंधित स्कूल प्रबंधक को भी भेजेगा। यह भी निर्देश है कि शासन एवं प्रबंधक की अनुमति के बाद सहायक अध्यापक पद की नियुक्ति के लिए दो समाचारपत्रों में विज्ञापन देना अनिवार्य होगा। उसमें शिक्षक की शैक्षिक योग्यता, आयु, वेतनमान व आरक्षण आदि का पूरा विवरण दिया जाएगा। 1आवेदन पत्र मिलने के बाद निर्धारित चयन समिति गठित होगी। साथ ही चयन की कार्रवाई अनुमोदन के लिए जिला विद्यालय निरीक्षक को भेजा जाएगा। डीआइओएस इसमें नियमानुसार अनुमोदन देंगे। प्रमुख सचिव ने 2012 के शासनादेश की शर्तो के तहत नियुक्ति की व्यवस्था खत्म कर दी है। इससे शिक्षा निदेशक माध्यमिक को भी अवगत कराया है।
1प्रदेश के अशासकीय माध्यमिक स्कूलों से संबद्ध प्राइमरी विद्यालयों में अध्यापकों की नियुक्ति के लिए 2012 मई एवं दिसंबर में दो आदेश हुए थे। उसमें नियुक्ति का अधिकार कुछ शर्तो के साथ जिला विद्यालय निरीक्षक को देने का निर्णय हुआ। उसी आधार पर इन दिनों जिला विद्यालय निरीक्षकों ने जनशक्ति, मानक एवं स्कूल में छात्र संख्या अनुकूल न होने पर भी नियुक्तियां कर डाली। इनमें से कई मामले कोर्ट तक पहुंचे जिससे शासन असहज हुआ। अब माध्यमिक शिक्षा के प्रमुख सचिव जितेंद्र कुमार ने नियमों में कर दिया है। नए नियमों के मुताबिक संबद्ध प्राइमरी स्कूल के कक्षा एक से पांच तक में एक अध्यापक प्रति कक्षा नियुक्त होगा। यही नहीं, इन स्कूलों में तैनात रहे शिक्षकों की सेवानिवृत्ति, पदोन्नति या फिर मृत्यु हो जाने पर रिक्त पद के प्रति स्कूल की छात्र संख्या एवं आवश्यकता को ध्यान में रखकर जिला विद्यालय निरीक्षक संस्तुति सहित प्रस्ताव शिक्षा निदेशालय भेजेंगे। यह प्रस्ताव परीक्षण के बाद एक माह के अंदर शासन को भेजा जाएगा। शासन रिक्त पदों की पूर्ति करने का अनुमति पत्र डीआइओएस व संबंधित स्कूल प्रबंधक को भी भेजेगा। यह भी निर्देश है कि शासन एवं प्रबंधक की अनुमति के बाद सहायक अध्यापक पद की नियुक्ति के लिए दो समाचारपत्रों में विज्ञापन देना अनिवार्य होगा। उसमें शिक्षक की शैक्षिक योग्यता, आयु, वेतनमान व आरक्षण आदि का पूरा विवरण दिया जाएगा। 1आवेदन पत्र मिलने के बाद निर्धारित चयन समिति गठित होगी। साथ ही चयन की कार्रवाई अनुमोदन के लिए जिला विद्यालय निरीक्षक को भेजा जाएगा। डीआइओएस इसमें नियमानुसार अनुमोदन देंगे। प्रमुख सचिव ने 2012 के शासनादेश की शर्तो के तहत नियुक्ति की व्यवस्था खत्म कर दी है। इससे शिक्षा निदेशक माध्यमिक को भी अवगत कराया है।
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