4.4.17

6 अप्रैल-2017 को सुबह 7.30 से होगा मुख्यमंत्री जी के आवास पर प्रदर्शन



सभी साथियों को नमस्कार......
【 6 अप्रैल-2017 को सुबह 7.30 से होगा मुख्यमंत्री जी के आवास पर प्रदर्शन】
मित्रों जैसाकि आप सबको पता है कि अनुदेशकों के मानदेय के लिए रू17000/-मासिक (रू०187000/-वार्षिक) का प्रस्ताव राज्य के द्वारा PAB की बैठक में ले जाया गया था। प्रमुख सचिव,बेसिक शिक्षा की गलती के कारण प्रस्ताव को पास न करके मात्र 10% बढ़ोत्तरी या सम्भवतः रू०10000/- करने की सहमति बनी है।सचिवों की गलती का खामियाजा हम क्यों उठाएं। संगठन ने अपनी तरफ से एड़ी चोटी का जोर लगाकर पैरवी किया था लेकिन इन अधिकारियों ने हमारे मन्सूबों पर पानी फेरने की भरपूर कोशिश किया है।
चूंकि हमारे पास इतना समय शेष नहीं बचा है कि हम कही एक स्थान पर धरने पर बैठकर सरकार का ध्यान अपनी ओर आकर्षित होनें का इंतजार करें क्योंकि तब तक PAB की कार्यवृत्ति के जारी होने का खतरा मंडरा रहा है।और एक बार कार्यवृत्ति जारी होनें के बाद हमारे हाथों में करने को कुछ भी शेष नहीं रह जाएगा। ऐसी स्थिति में हमलोगों को सीधे मुख्यमंत्री जी तक अपनी बात जल्द से जल्द पंहुचानी पड़ेगी।
चूंकि इस समय जो भी संगठन या सामान्य लोग मुख्यमंत्री आवास पर शांतिपूर्ण प्रदर्शन कर ले रहे हैं,माननीय मुख्यमंत्री जी उनको दर्द को सीधे स्वयं सुन रहे हैं इसीलिए संगठन ने यह निर्णय लिया है कि दिनांक-06/04/17 को सुबह 7.30 बजे से ही मुख्यमंत्री आवास-5 कालीदास मार्ग पर शांतिपूर्वक प्रदर्शन किया जाएगा गंगा मैया का आशीर्वाद रहा तो हमारी विजय तत्काल हो जाएगी लेकिन यदि ऐसा नहीं होता है तो सरकार का ध्यान सीधा अपनी ओर आकर्षित कराकर इस प्रदर्शन को किसी भी उचित स्थान पर धरने में भी परिवर्तित किया जा सकता है।लेकिन हमें आशा ही नहीं वरन पूर्ण विश्वास है कि प्रदर्शन के माध्यम से हम माननीय मुख्यमंत्री जी तक अपनी बात सीधे पंहुचाने में सफल हो जाएंगे।
सोशल मीडिया पर उटपटांग कमेंट करने वाले लोगों से भी विशेष अनुरोध है कि केवल उंगली करना छोड़कर धरातल पर आकर संघर्ष में संगठन का साथ दें और अपने नीरस जीवन को कुछ हद तक सम्मानित जीवन में बदलें।
समय का विशेष ध्यान देना है।सुबह 7.30 पर सबको पंहुच जाना है और प्रयास करें कि अपने अपने कंधे पर एक भाजपा वाला गमछा भी डालकर आयें।जो जनपद दूर के हैं वहाँ के अनुदेशक साथी एकदिन पहले ही निकल लें लेकिन सही समय पर सभी लोग वहाँ पंहुच जाएं।
.....अब आपका संघर्ष ही आपकी किस्मत बनाएगी।........
.........जय गंगा मैया.........
आपके संघर्षों का साथी
तेजस्वी शुक्ला
प्रदेश अध्यक्ष
9670923000
उच्च प्राथमिक अनुदेशक शिक्षक वेलफेयर एसोसिएशन,उ०प्र०

राज्य परियोजना कार्यालय सर्व शिक्षा अभियान निशांतगंज लखनऊ में धरने ((मानदेय बढोत्तरी/पैब 2017-18 के सम्बन्ध में))

** प्रिय अनुदेशक साथियो **
नमस्कार
(मानदेय बढोत्तरी/पैब 2017-18 के सम्बन्ध में)
जैसा कि पूर्व में भी अवगत कराया गया था कि सोमवार से मंगलवार तक स्थितियां स्पष्ट हो जाएँगी जिसके सम्बन्ध में कल मानव संसाधन विकास मंत्रालय नई दिल्ली से दोपहर 12 बजे ये स्पष्ट हो गया कि
केंद्र सरकार pab की मीटिंग में 17000 के प्रस्ताव को विस्तारपूर्वक चर्चा परिचर्चा की और अपने हिस्से का 60% देने को भी तैयार रही परन्तु राज्य सरकार के द्वारा अपने 40% के हिस्से के बजट देने में बार बार अक्षमता जाहिर करती रही जिसमे केंद्रीय समिति ने समीक्षा करने के बाद राज्य सरकार से अनुदेशक मानदेय का स्पष्ट प्रस्ताव नोटिफिकेशन जारी करते हुये पुनः अविलम्ब भेजने को कहा है अभी लगभग 7 से 8 दिन का समय हम सबके पास है मिनट्स जारी होने से पहले अगर हम सब प्रस्ताव नोटिफिकेशन जारी करते हुये भिजवाने में कामयाब हो गए तो बिना कटौती जा रहे प्रस्ताव को मंजूरी मिल जायेगी।।
साथियो जो सरकार के लायक अधिकारी पैब मीटिंग में हमारा पक्ष नहीं रख रहे थे तो प्रस्ताव में कितना मजबूत तर्क रखेगी आप सब खुद सोच सकते है और ज्यादा संभावना है नए प्रस्ताव में द्वेषपूर्ण तरीके से 17000 ना भेजे प्रस्ताव अबकी बार पूर्णतया आदेश होकर mhrd में जाये और पूर्णतया बिना कटौती के पास हो इस हेतु प्रदेश के सभी संघ के प्रदेश अध्यक्ष सहित सम्पूर्ण कार्यरत 32000 अनुदेशको से अनुरोध है कि अपने अपने बैनर के साथ आये क्योकि वहाँ कोई मंच नही होगा अपने अधिकारो को पाने के लिए दिनाक 6 अप्रैल 2017 दिन बृहस्पतिवार को राज्य परियोजना कार्यालय सर्व शिक्षा अभियान निशांतगंज लखनऊ में धरने पर पहुचे जिससे अनुदेशको के मानदेय का प्रस्ताव अविलम्ब 17000 का नोटिफिकेशन जारी कराते हुये भिजवाया जा सके जिससे इस सत्र से अनुदेशक सम्मानजनक स्थिति पर आ सके।।
ये मानदेय प्रस्ताव सभी अनुदेशको से सम्बंधित मामला है आपसी भेदभाव छोड़कर एक जुट होकर धरने में पहुँचे...कल शाम 4 बजे ही धरने की जानकारी निदेशालय को दे दी गयी है।।
"अब अपने भाग्य का फैसला अनुदेशक साथियो के अपने हाथ में ही है या तो संख्या बल के साथ एक साथ आकर अपनी एकता का ताकत दिखाकर अपने अधिकारो को छीन सकते है या घर बैठे दुसरो को कोस सकते है.......
*परिंदे रुक मत, तुझमे जान बाकी है*
*मन्जिल दूर है बहुत, उड़ान बाकी है.*
*आज या कल, मुट्ठी में होगी दुनियाँ*
*लक्ष्य पर अगर, तेरा ध्यान बाकी है*..
*यूँ ही नहीं मिलती, रब की मेहरबानी*
*एक से बढ़कर एक, इम्तेहान बाकी है.*
*जिंदगी की जंग में, है हौसला जरुरी*
*जीतने के लिए, सारा जहान बाकी है..*
आपका साथी
राकेश पटेल"सिंटू"
प्रदेश अध्यक्ष
पू.मा.अनुदेशक कल्याण समित उ.प्र.
9455788206

बेसिक शिक्षा में 100 दिनों में करने होंगे यह अहम बदलाव: योगी आदित्यनाथ

शिक्षा सुधार के लिए उठाए जाएंगे ये कदम - ।

बेसिक शिक्षा में 100 दिनों के अंदर लाए जाएंगे सुधार, योगी ने दिए निर्देश।।

हर हाल में यह सुनिश्चित किया जाएगा कि विद्यालयों में अधिकतम 200 दिन के अन्दर कोर्स पूरा कराया जाए।।


बायोमेट्रिक से शिक्षकों और छात्रों की हाजिरी लगेगी, जिससे किसी तरह की गड़बड़ी की गुंजाइश को कम किया जा सकेगा।।

नकल करवाने वालों पर सख़्त कार्रवाई होगी। दाग़ी केंद्रों पर एफआईआर दर्ज करवाई जाएगी।।

10 जुलाई तक नए सेशन की किताबें और यूनीफॉर्म बांटी जाएंगी।।

कोचिंग सेंटर चलाने वाले सरकारी शिक्षकों पर एफआईआर दर्ज होगी।

निजी स्कूलों की फीस पर सख्ती बरती जाएगी। उनकी मनमानी नहीं चलेगी।।

उत्तर प्रदेश में शिक्षकों की कमी को दूर किया जाएगा।।

योगी ने परीक्षाओं को 15 दिन में पूरा करके अगले 15 दिन के अन्दर उनके परिणाम देने की सम्भावना तलाशने के भी निर्देश अधिकारियों को दिए।।

भाजपा के प्रदेश महामंत्री विजय बहादुर पाठक ने शिक्षा क्षेत्र में योगी की ओर से की गयी पहल का स्वागत करते हुए कहा कि बेसिक शिक्षा से लेकर उच्च एवं तकनीकी शिक्षा के क्षेत्र में तमाम फैसलों से प्रदेश में शिक्षा के स्तर को उन्नत बनाने में निश्चित तौर पर मदद मिलेगी।

(पीटीआई इनपुट्स)

शिक्षकों की बॉयोमेट्रिक से पहले स्थानान्तरण नीति को दुरुस्त करना होगा...

बॉयोमेट्रिक से पहले स्थानान्तरण नीति को दुरुस्त करना होगा...
यथासम्भव पोस्टिंग घर के नज़दीक होनी चाहिए।इस बात का कोई तुक नही कि अपने ब्लॉक में सीट्स होने के बावजूद 80 किलोमीटर दूर के स्कूल में नियुक्ति दी जाये।
अभी तक बेसिक शिक्षा विभाग में स्थानांतरण आपकी 'पहुँच' पर निर्भर है
जिसकी पहुँच है वह पूरा सेवाकाल घर के पास सुगम स्थान में निकाल लेते हैं।
और जिनकी पहुँच नही है वे दूर दुर्गम में पिसते रहते हैं किसी भी स्पष्ट नीति के अभाव में।
माननीय योगी जी को यह भी संज्ञान में लेना चाहिए।        🙏🏻🙏🏻

कल विभिन्न शिक्षा विभागों के प्रजेंटेशन के बाद सीएम योगी द्वारा लिए गए प्रमुख फैसले

1) सभी प्राथमिक व माध्यमिक विद्यालयों में शिक्षक व छात्रों की रियल टाइम मॉनिटरिंग के लिए बायोमैट्रिक हाजिरी, 100 दिनों के भीतर सुनिश्चित करने का आदेश
2) प्राथमिक विद्यालयों में शिक्षक भर्ती के नियम बदलेंगे, बेसिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड का होगा गठन।
3) एक जुलाई तक प्राथमिक स्कूलों में किताब, यूनिफॉर्म व बैग हर हाल में बांटने का आदेश।
4) 1760 उच्च प्राथमिक विद्यालयों में प्रयोगशाला स्थापित करने का आदेश।
5) 45809 प्राथमिक स्कूलों में बिजली कनेक्शन का आदेश।
6) प्राथमिक विद्यालयों में शिक्षा मित्रों के समायोजन को लेकर सरकार सुप्रीम कोर्ट में पैरवी प्रभावी ढंग से करे।
7) कोचिंग चलाने वाले सरकारी शिक्षकों के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने का आदेश।
8) बगैर मान्यता लिए स्कूल चलाने वालों की अब खैर नहीं, होगी कठोर कार्रवाई।
9) माध्यमिक स्कूलों में नकल रोकने हेतु कड़े कानून बनाने पर जोर, नकल में संलिप्तता पर स्कूलों का मान्यता तुरंत रद्द हो।
10) माध्यमिक विद्यालयों में कार्य कर चुके कम्प्यूटर अनुदेशकों को लेकर जल्द फैसले लिए जाएं।
11) माध्यमिक विद्यालयों में एनसीईआरटी पाठ्यक्रम लागू हो।
12) विद्यालयों में हर हाल में अधिकतम 200 दिनों में हो कोर्स पूरा।
13) अशासकीय माध्यमिक विद्यालय व राजकीय हाईस्कूल/इंटर कालेज के शिक्षकों के तबादले के लिए ऑनलाइन व्यवस्था हो।
14) मनमाने ढंग से फीस बढ़ाने वाले स्कूल संचालकों पर नियंत्रण रखा जाए।
15) उच्च शिक्षण संस्थानों में यथाशीघ्र रिक्त शिक्षकों के पद भरे जाएं।
16) सभी विश्वविद्यालयों में एक समान पाठ्यक्रम लागू करने का आदेश।
17) सभी उच्च शिक्षण संस्थानों को वाई-फाई युक्त किया जाए, छात्रों को एक जीबी डेटा प्रतिदिन उपलब्ध कराए जाएं।

घर बैठे सैलरी ल रहीं बीएसए पत्नी, तैनाती के बाद एक दिन भी नहीं गयीं स्कूल


आशा बहुओं ने माँगा केंद्रीय कर्मचारी का दर्जा

केंद्रीय कर्मचारी का दर्जा दिए जाने की मांग को लेकर आशा बहुओं ने सोमवार को लक्ष्मण मेला स्थल पर धरना-प्रदर्शन किया। इस दौरान प्रदर्शनकारियों ने मानदेय 18 हजार रुपये करने की मांग उठाई।

करेली के इस स्कूल में ही लंच करती है भूरी, चार साल से मिड-डे-मील बंटने के समय पहुंचती है यह गाय, स्कूल के बच्चों और यहां की शिक्षिकाओं से अटूट लगाव है इलाके में चर्चा का विषय

इलाहाबाद वरिष्ठ संवाददाता
प्राथमिक विद्यालय करेली बालक भावापुर के बच्चों का लंच भूरी के बिना नहीं हो सकता। 10.30 बजे मिड-डे-मील की घंटी बजने से पहले भूरी नाम की यह गाय स्कूल के दरवाजे पर दिख जाती है। पिछले चार सालों में
शायद ही कोई दिन ऐसा बीता हो जब स्कूल में मिड-डे-मील बना हो और भूरी को उसका हिस्सा न मिला हो। यह सिलसिला धीरे-धीरे अब स्कूल के बच्चों, इंचार्ज प्रधानाध्यापिका सबीहा खातून और सहायक अध्यापिका किश्वर जहां के जीवन का अटूट हिस्सा बन गया है। प्रत्येक बच्च अपनी प्लेट का थोड़ा हिस्सा भूरी को बड़े चाव से अपने हाथ से खिलाता है। कभी-कभी भूरी के साथ उसके ही रंग की एक और गाय लंच के लिए आती है।इस गाय का स्कूल से लगाव अभिभावकों और आसपास रहने वालों में चर्चा का विषय है। मोहल्ले वालों की मानें तो स्कूल तक आए बगैर भूरी का मन नहीं मानता। अक्सर छुट्टी के दिन वह बंद गेट के सामने खड़ी दिख जाती है। बच्चों की आंखें भी जैसे भूरी को देखने के लिए बैचेन रहती है। किसी दिन भूरी को आने में देर हो जाए तो बच्चे तब तक खाना शुरू नहीं करते जब तक उसे देख न लें। इंचार्ज प्रधानाध्यापिका सबीहा खातून कहती हैं-‘पिछले चार साल से यह गाय हमारे स्कूल में मिड-डे-मील के समय आती है। इसे हम प्यार से भूरी पुकारते हैं। गाय के आते ही बच्चे खुश हो जाते हैं। यह समय की बहुत पाबंद है।’ एक अप्रैल से 30 सितंबर तक स्कूल की टाइलिंग सुबह आठ से एक बजे तक होती है और लंच 10.30 बजे होता है। एक अक्तूबर से 31 मार्च तक टाइमिंग सुबह नौ से तीन बजे तक रहती है और लंच 12.30 बजे होता है।
प्राथमिक विद्यालय करेली बालक में कक्षा एक से पांच तक कुल 87 छात्र-छात्रएं पंजीकृत हैं। इनमें 21 बच्चे उर्दू पढ़ने वाले हैं।

उत्तर प्रदेश में सरकारी शिक्षकों के 1.60 लाख पद खाली, कक्षा आठ तक के स्कूलों में 174726 रिक्त पद, प्राथमिक स्कूलों में 15 हजार शिक्षकों की हुई भर्ती

इलाहाबाद वरिष्ठ संवाददाता
यूपी के सरकारी स्कूलों में शिक्षकों के तकरीबन 1.60 लाख पद खाली हैं। प्रदेश सरकार की ओर से केन्द्र को भेजी गई सूचना के मुताबिक, कक्षा आठ तक के सरकारी स्कूलों में अप्रैल 2016 तक 174726 पद रिक्त थे।
इसके बाद 15 हजार सहायक अध्यापकों की भर्ती की गई। इस प्रकार वर्तमान में तकरीबन 1.60 लाख पद खाली हैं।प्रदेश सरकार की ओर से सर्व शिक्षा अभियान के तहत वित्तीय सहायता के लिए मानव संसाधन विकास मंत्रलय को सूचना भेजी गई थी। गोंडा के आरटीआई एक्टिविस्ट दुर्गेश प्रताप सिंह को सूचना का अधिकार अधिनियम के तहत मिली जानकारी के मुताबिक, प्राथमिक व उच्च प्राथमिक स्कूलों में शिक्षकों के 759958 स्वीकृत पदों में से 585232 कार्यरत थे।22 अप्रैल 2016 को हुई सर्व शिक्षा अभियान के प्रोजेक्ट अप्रूवल बोर्ड (पीएबी) की बैठक में इन आंकड़ों को प्रस्तुत किया गया था। इसी के आधार पर शिक्षकों के वेतन समेत अन्य मदों में ग्रांट को मंजूरी मिली थी।

’ प्रदेश के प्राथमिक विद्यालयों में सहायक अध्यापक के 5,32,001 सृजित पदों के सापेक्ष 1,53,307 पद खाली ’
प्राथमिक विद्यालयों में प्रधानाध्यापक के 66,498 पदों के सापेक्ष 1016 पद रिक्त’
उच्च प्राथमिक विद्यालयों में सहायक अध्यापक के 1,17,240 पदों के सापेक्ष 5,390 खाली ’
उच्च प्राथमिक स्कूलों में प्रधानाध्यापक के 44,219 पदों के सापेक्ष 15,013 रिक्त’
22 अप्रैल 2016 तक कक्षा एक से आठ तक के स्कूलों में शिक्षकों के कुल 1,74,726 पद खाली थे।’
इसके अलावा प्रदेश के 10,187 प्राथमिक विद्यालय व 4895 उच्च प्राथमिक विद्यालय एक शिक्षक के भरोसे चल रहे थे।
आरटीआई में मिली सूचना ने बेसिक शिक्षा के गिरते स्तर और विभाग द्वारा छिपाए जा रहे शिक्षकों के खाली पदों की पोल खोल दी हैं। विभाग इतनी अधिक रिक्तियों के बावजूद भी सुप्रीमकोर्ट के निर्देशानुसार बीएड टीईटी पास युवाओं की नियुक्ति नहीं कर रहा है। दुर्गेश प्रताप सिंह

12460 और 4000 भर्ती के मामले में भी संशय के बादल, ज्यादा पदों के साथ भर्ती कराने की पहल की संभावना

12460 और 4000 भर्ती के मामले में भी संशय के बादल, ज्यादा पदों के साथ भर्ती कराने की पहल की संभावना
बेसिक शिक्षा विभाग की 12460 व चार हजार उर्दू शिक्षक भर्ती के भी आगे बढ़ने पर संशय है। संभव है कि नई
सरकार ज्यादा पदों के साथ भर्ती कराने की पहल करे। यह सब मुद्दे पहली कैबिनेट बैठक में आने की उम्मीद नहीं है, लेकिन कुछ अहम प्रकरणों का निस्तारण होने की उम्मीद जरूर है।

बेसिक शिक्षा विभाग अब तक नहीं बदल सका जिले का नाम, प्रमाणपत्रों में छप के आ रहा गलत नाम

बेसिक शिक्षा विभाग अब तक नहीं बदल सका जिले का नाम, प्रमाणपत्रों  में छप के आ रहा गलत नाम

परिषदीय विद्यालयों के प्रति मानसिकता बदलें अभिभावक

परिषदीय विद्यालयों के प्रति मानसिकता बदलें अभिभावक

एक स्कूल में काम कर रहे हैं दो हेड मास्टर, BSA के आदेश के बाद हेड नहीं हो रहे रिलीव

एक स्कूल में काम कर रहे हैं दो हेड मास्टर, BSA के आदेश के बाद हेड नहीं हो रहे रिलीव

बच्चे टहल रहे, फिर शिक्षक ले रहे पूरी पगार: सरकार बदलने का असर प्राइमरी मास्टरों पर नहीं

बच्चे टहल रहे, फिर शिक्षक ले रहे पूरी पगार: सरकार बदलने का असर प्राइमरी मास्टरों पर नहीं

व्हाट्सएप पर लगेगी अब सरकारी कर्मियों की हाजिरी, विभाग ने दिया निर्देश

व्हाट्सएप पर लगेगी अब सरकारी कर्मियों की हाजिरी, विभाग ने दिया निर्देश

बदलेगी बच्चों की यूनिफार्म, साथ हर माह के अंतिम शनिवार को बच्चों का मनेगा स्कूल में जन्मदिन

बदलेगी बच्चों की यूनिफार्म, साथ हर माह के अंतिम शनिवार को बच्चों का मनेगा स्कूल में जन्मदिन

बेसिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड का गठन करेगी सरकार, एक जुलाई तक हर बच्चे के हाथ में होंगीं किताबें, यूनिफार्म और बैग, साथ पाठ्यक्रम में होगा बदलाव

बेसिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड का गठन करेगी सरकार, एक जुलाई तक हर बच्चे के हाथ में होंगीं किताबें, यूनिफार्म और बैग, साथ पाठ्यक्रम में होगा बदलाव

बगैर मान्यता स्कूल चला तो नपेंगे बीईओ, बगैर मान्यता प्राप्त स्कूल संचालकों के खिलाफ दर्ज कराएं रिपोर्ट

सत्ता परिवर्तन के बाद अधिकारियों के कार्यों पर इसका सीधा असर दिखाई देने लगा है। बेसिक शिक्षा अधिकारी ने भी जिले में बड़ी संख्या में चल रहे बगैर मान्यता प्राप्त स्कूलों के खिलाफ कसना शुरू कर दिया है। अधीनस्थों को निर्देश देकर सभी फर्जी स्कूल संचालकों के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कराने के निर्देश दिए हैं। अगर फर्जी स्कूल व कम मान्यता के बाद उच्च कक्षाएं संचालित करते हुए पाई जाती हैं तो अधीनस्थों के खिलाफ कार्रवाई की
जाएगी।
जिले में बगैर मान्यता के संचालित होने वाले स्कूल संचालकों की अब खैर नहीं होगी क्योंकि सत्ता परिवर्तन के बाद सभी विभागों के जिला स्तरीय अधिकारियों ने भ्रष्टाचार पर अंकुश लगाने के लिए सभी प्रयास तेज कर दिए हैं। इसी क्रम में बेसिक शिक्षा अधिकारी ने सभी खंड शिक्षा अधिकारियों के साथ ही संकुल प्रभारियों को निर्देश दिए हैं कि अपने परिक्षेत्र में संचालित बगैर मान्यता के स्कूलों को चिह्न्ति कर उन्हें बंद कराने के निर्देश दें अगर एक सप्ताह के अंदर बंद नहीं करते हैं तो उनके खिलाफ संबंधित थाने में रिपोर्ट दर्ज कराएं। वहीं कम मान्यता के बाद अधिक कक्षाएं संचालित करने वाले स्कूलों के खिलाफ भी कार्रवाई की जाए। अगर फर्जी तरीके से चल रहे स्कूल बंद नहीं किए जाते हैं तो संबंधित एनपीआरसी के साथ ही खंड शिक्षा अधिकारियों पर भी कार्रवाई की जाएगी।
आठ टीमों का किया जा रहा है गठन : जिले में फर्जी तरीके से संचालित स्कूलों पर नकेल कसने के लिए बेसिक शिक्षा अधिकारी ने हर विकास खंड में एक एक टीम का गठन करने की तैयारी शुरू कर दी है। नवरात्र के बाद स्कूल खुलते ही सभी टीमें प्रत्येक विकास खंड में पहुंचकर कार्य करेंगी। जो फर्जी स्कूल संचालकों के खिलाफ कार्रवाई करेंगी। अगर टीम फर्जीवाड़े को रोकने में नाकाम साबित रहती हैं तो उनके खिलाफ कार्रवाई होगी।
अभिभावक बरतें यह सावधानी : जिलेभर के मान्यता प्राप्त स्कूल संचालकों को निर्देशित किया गया है कि मान्यता व सोसायटी रजिस्ट्रेशन के दस्तावेज स्कूल के मुख्य श्यामपट पर चस्पा करें। अभिभावक बच्चों का प्रवेश कराने के लिए जाएं तो सबसे पहले उस बोर्ड को देखकर प्रवेश कराएं। जिससे स्कूल पर कार्रवाई होने पर बच्चों का भविष्य खराब नहीं हो सके।

सीएम ने कहा, बेसिक शिक्षा में 100 दिन में हो सुधार: बेसिक शिक्षा विभाग के वरिष्ठ अधिकारियों को दिये निर्देश

लखनऊ : मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बेसिक शिक्षा विभाग के वरिष्ठ अधिकारियों को दिये हैं कि आगामी 100 दिन में बेसिक शिक्षा में बेहतर बदलाव प्रत्येक दशा में दिखने चाहिए। परिषदीय विद्यालयों के बच्चों को हर हाल में पहली से लेकर 10 जुलाई तक किताबें, यूनीफार्म व बैग बंट जाएं। राष्ट्रीय आविष्कार अभियान के तहत 1760
उच्च प्राथमिक विद्यालयों में विज्ञान व गणित की लैब विकसित करने के लिए कहा। अगले 100 दिनों में 45,809 परिषदीय प्राथमिक व उच्च प्राथमिक विद्यालयों का विद्युतीकरण कराये जाने के भी निर्देश दिये।
विश्वविद्यालयों में लागू हो समान पाठ्यक्रम : मुख्यमंत्री ने उच्च शिक्षा विभाग का प्रस्तुतीकरण देखते हुए निर्देश दिए कि राज्य स्तर पर सभी विश्वविद्यालयों में एक समान पाठ्यक्रम लागू किया जाए। महाविद्यालयों के सत्रों को नियमित किया जाए। उन्होंने उच्च शिक्षण संस्थाओं में शिक्षकांे की कमी को दूर करने के निर्देश दिए। उच्च शिक्षण संस्थाओं में भर्ती से सम्बन्धित लम्बित वादों को शीघ्र निपटाने के लिए कहा।
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आइटीआइ में लागू किये जाएं नए ट्रेड : व्यावसायिक शिक्षा के प्रस्तुतीकरण की मुख्यमंत्री ने प्रशंसा की और निर्देश दिए कि आइटीआइ संस्थानों में पुराने ट्रेडों को समाप्त करके आधुनिक जरूरतों के अनुरूप नए ट्रेड शुरू किए जाएं। यह निर्देश भी दिए कि आइटीआइ से प्रशिक्षित विद्यार्थियों को विदेशों में रोजगार के अवसर बढ़ाने के लिए एनआरआइ विभाग से समन्वय करके कार्ययोजना बना ली जाए। आइटीआइ संस्थानों को शिफ्ट में संचालित करने के लिए कार्ययोजना बनाई जाए। मुख्यमंत्री ने प्राविधिक शिक्षा विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिया कि बंदी के कगार पर पहुंचे निजी इंजीनियरिंग कॉलेजों के संसाधनों का इस्तेमाल व्यावसायिक गतिविधि में करने से रोका जाए।परिषदीय विद्यालय में दस जुलाई तक हर हाल में बंट जाए किताबें, यूनीफॉर्म व बैग

12460 सहायक अध्यापकों की भर्ती में नियुक्ति पत्र के लिए दिया धरना

नियुक्ति पत्र के लिए दिया धरना
इलाहाबाद: बेसिक शिक्षा परिषद के विद्यालयों में 12460 सहायक अध्यापकों की भर्ती के लिए पहले चरण की काउंसिलिंग पूरी हो चुकी है। उसके बाद से चयन प्रक्रिया रोक दी गई है। इसके विरोध में प्रदेश के कई जिलों से
आए अभ्यर्थियों ने निदेशालय में धरना देकर मांग की है कि उन्हें नियुक्ति पत्र दिया जाए। परिषद की ओर से उन्हें आश्वस्त किया गया कि जैसे ही सरकार आगे की प्रक्रिया शुरू करने का निर्देश देगी नियुक्ति पत्र बांटे जाएंगे।

BTC कॉलेजों की संबद्धता के लिए विज्ञप्ति जारी

परीक्षा नियामक प्राधिकारी सचिव ने बताया कि प्रदेश में 2017-18 के लिए जो कॉलेज संबद्धता चाहते हैं उनसे आवेदन मांगे गए हैं। इसकी विज्ञप्ति जारी हो गई है। उन्होंने बताया कि बीटीसी 2013 की तृतीय व चतुर्थ सेमेस्टर की परीक्षाएं हो गई हैं उसकी उत्तरपुस्तिकाओं का मूल्यांकन कराने की तैयारी है। वहीं, बीटीसी 2014 और 2015 की परीक्षा इसी माह पूरी हो जाएगी।

बीटीसी का खाका तैयार, आदेश का इंतजार: शिक्षक बनने के लिए बीटीसी 2016 में दाखिले के इच्छुक अभ्यर्थियों के लिए अच्छी खबर

इलाहाबाद : शिक्षक बनने के लिए बीटीसी 2016 में दाखिले के इच्छुक अभ्यर्थियों के लिए अच्छी खबर है। परीक्षा नियामक प्राधिकारी सचिव ने बीटीसी-16 में प्रवेश दिलाने का पूरा खाका तैयार कर लिया है। प्रस्ताव पिछले सप्ताह ही शासन को भेज दिया है। वहां से अब निर्देश मिलने का इंतजार है। यह भी संकेत हैं कि शासनादेश
जारी होने के तीन दिन बाद से ऑनलाइन आवेदन लेने की प्रक्रिया शुरू की जाएगी।
प्रदेश भर के जिला शिक्षा व प्रशिक्षण संस्थान (डायट) व निजी बीटीसी कॉलेजों में इधर सत्र विलंब से चल रहा है। तमाम प्रयासों के बाद भी उसे पटरी पर नहीं लाया जा सका है। अफसरों के प्रयास असफल होने पर सर्वोच्च न्यायालय ने बीटीसी का सत्र नियमित करने की पहल की। कोर्ट ने बाकायदे कब आवेदन लिया जाए और कब से पढ़ाई शुरू हो इसका कार्यक्रम भी भेजा, उसके बाद भी सत्र एक साल विलंब से ही चल रहा है। इस बार विधानसभा चुनाव के कारण बीटीसी 2016 की प्रवेश प्रक्रिया करीब चार माह की देरी हुई है। तैयारी थी कि इसे जनवरी से शुरू किया जाएगा, ताकि अप्रैल माह से सत्र शुरू हो जाए, लेकिन चुनाव के कारण अब दाखिले का कार्य शुरू हो सकेगा। ऐसे में सत्र भी देर से शुरू होगा। परीक्षा नियामक प्राधिकारी सचिव डा. सुत्ता सिंह ने बताया कि नए सत्र के लिए प्रस्ताव भेज दिया गया है। अब शासन से मंजूरी मिलने का इंतजार है। जैसे ही आदेश मिलेगा उसके तीन दिन के अंदर ऑनलाइन आवेदन शुरू हो जाएंगे। सचिव ने बताया कि इस बार बीटीसी की काउंसिलिंग भी ऑनलाइन कराने की तैयारी थी।

आइआइएससी देश का सर्वश्रेष्ठ शिक्षण संस्थान, केंद्र सरकार ने जारी की देशभर के शैक्षणिक संस्थानों की रैंकिंग, प्रबंधन की श्रेणी में आइआइएम-अहमदाबाद सबसे ऊपर

नई दिल्ली : देशभर के शैक्षणिक संस्थानों की रैंकिंग में केंद्र सरकार ने भारतीय विज्ञान संस्थान (आइआइएससी) को अव्वल पाया है। मानव संसाधन विकास मंत्रलय की ओर से जारी रैंकिंग में इंजीनियरिंग श्रेणी में आइआइटी-मद्रास और प्रबंधन की श्रेणी में आइआइएम-अहमदाबाद को सबसे ऊपर रखा गया है। विभिन्न वजहों से विवाद में रहे जवाहर लाल नेहरू विश्वविद्यालय (जेएनयू) ने इस बार देशभर के विश्वविद्यालयों में अपनी स्थिति मजबूत
करते हुए दूसरे स्थान पर जगह बनाई है।1मानव संसाधन विकास मंत्रलय की ओर से तैयार ‘नेशनल इंस्टीट्यूशनल रैंकिंग फ्रेमवर्क’ (एनआइआरएफ) के तहत विभिन्न श्रेणियों के संस्थानों का शिक्षण, शोध, पेशेवर तरीकों, नतीजों आदि विभिन्न पैमानों पर आकलन किया गया।1 बेंगलुरु स्थित आइआइएससी न सिर्फ विश्वविद्यालयों में शीर्ष पर आया है, बल्कि सभी शैक्षणिक संस्थानों की व्यापक श्रेणी में भी यह सबसे ऊपर है। 1पिछले दिनों आई टीएचई की अंतरराष्ट्रीय रैंकिंग में जगह पाने वाला यह अकेला भारतीय संस्थान था। दुनियाभर के छोटे विश्वविद्यालयों की श्रेणी में इसे आठवें स्थान पर रखा गया था। मानव संसाधन विकास मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने कहा है कि जिन संस्थानों की रैंकिंग अच्छी आई है, उन्हें उसी अनुरूप आर्थिक सहायता, स्वायत्तता व अन्य लाभ उपलब्ध कराए जाएंगे। आर्किटेक्चर, कानून और मेडिकल आदि क्षेत्रों में पर्याप्त संख्या में संस्थानों के सामने नहीं आने से इन श्रेणियों में रैंकिंग नहीं की गई।1देश के शीर्ष शिक्षण संस्थानों की व्यापक श्रेणी में शीर्ष दस में सात आइआइटी ही हैं। इनके अलावा जवाहर लाल नेहरू विश्वविद्यालय छठे और बनारस हंिदूू विश्वविद्यालय दसवें स्थान पर रखा गया है। इसी तरह इंजीनियरिंग संस्थानों में पहले से सातवें स्थान तक आइआइटी ही हैं। इनमें सबसे ऊपर मद्रास का, दूसरे पर बंबई का और तीसरे पर खड़गपुर का आइआइटी है। विश्वविद्यालयों की श्रेणी में इस बार जवाहर लाल नेहरू विश्वविद्यालय (जेएनयू) की रैंकिंग में और सुधार हुआ है। पिछले साल यह देशभर के विश्वविद्यालयों में तीसरे पायदान पर था, इस बार यह दूसरे पर है।1कॉलेजों में दिल्ली के मिरांडा हाउस को पहले स्थान पर, चेन्नई के लोयाला कॉलेज को दूसरे और दिल्ली के ही श्री राम कॉलेज ऑफ कॉमर्स को तीसरे स्थान पर रखा गया है।1 फार्मेसी श्रेणी में दिल्ली के जामिया हमदर्द को पहले स्थान पर, पंजाब के मोहाली स्थित नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ फार्मास्यूटिकल एजुकेशन एंड रिसर्च को दूसरे स्थान पर और यूनिवर्सिटी इंस्टीट्यूट ऑफ फार्मास्यूटिकल साइंस, चंडीगढ़ को तीसरे स्थान पर रखा गया है।1आइआइटी कानपुर के साथ बीएचयू भी अपने-अपने वर्ग में ऊपर1उत्तर प्रदेश के संस्थानों ने भी इस रैंकिंग में अच्छा प्रदर्शन किया है। आइआइटी कानपुर को इंजीनियरिंग संस्थानों में पांचवें स्थान पर रखा गया है, जबकि सभी शैक्षणिक संस्थानों की व्यापक श्रेणी में यह सातवें पायदान पर है। इसी तरह बनारस हंिदूू विश्वविद्यालय देशभर के विश्वविद्यालयों में तीसरे स्थान पर और सभी शैक्षणिक संस्थानों में दसवें स्थान पर है। 1आइआइटी रुड़की इंजीनियरिंग संस्थानों में छठे और सभी शैक्षणिक संस्थानों की श्रेणी में नौवें स्थान पर है। अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय को विश्वविद्यालयों की श्रेणी में 11वें स्थान पर रखा गया है। दिल्ली विश्वविद्यालय विश्वविद्यालयों की श्रेणी में आठवें नंबर पर है।

अब पूरे वेतन पर भी पीएफ पेंशन

कानपुर : कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ) के सदस्य पूरे वेतन पर भी पेंशन ले सकते हैं। ऐसा सर्वोच्च न्यायालय के निर्णय के आधार पर हुआ है।1ईपीएफओ के केंद्रीय अपर भविष्य निधि आयुक्त (मुख्यालय) डॉ. एसके ठाकुर ने सर्वोच्च न्यायालय के आदेश के संदर्भ में आदेश जारी करते हुए कहा है यदि किसी पेंशनर का
पीएफ अंशदान पीएफ की सीलिंग सीमा से अधिक वेतन पर कटता था लेकिन पेंशन फंड में सीलिंग सीमा कर आधार पर ही गणना कर पैसा जाता था तो उसके अंतर का राशि ब्याज सहित जमा कर बढ़ी हुई पेंशन प्राप्त कर सकते हैं। वर्ष 2001 में सीमा 6500 थी और एक सितंबर 2014 से यह सीमा बढ़ कर 15 हजार कर दी गयी। कर्मचारियों का अंशदान इसी पर 12 फीसद की दर से वेतन से काट कर जमा किया जाता है और इतना ही अंशदान सेवायोजक मिलाते हैं। सेवायोजक के अंशदान का 8.33 हिस्सा पेंशन फंड में जाता है जिससे कर्मचारी के 58 वर्ष की आयु में सेवानिवृत्त होने पर गणना कर पेंशन का भुगतान दिया जा सकता है। ईपीएफ इंप्लाइज यूनियन के महामंत्री राजेश कुमार शुक्ला ने बताया कि केंद्रीय अपर भविष्य निधि आयुक्त (मुख्यालय) के आदेश के अनुसार अंशदान और नई गणना के हिसाब से बनने वाले अंशदान के अंतर की राशि को जमा ब्याज के साथ जमा कराना होगा।

कोचिंग चलाने वाले सरकारी शिक्षकों के खिलाफ एफआईआर दर्ज करायें

लखनऊ : राज्य की शिक्षा व्यवस्था में काफी सुधार की आवश्यकता बताते हुए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कोचिंग चलाने वाले सरकारी शिक्षकों के खिलाफ एफआइआर दर्ज कराने का निर्देश दिया है। वहीं नकल पर पूरी तरह लगाम कसने के लिए उन्होंने दागी परीक्षा केंद्रों को चिन्ह्ति कर ब्लैक लिस्ट करने के साथ उनके
खिलाफ एफआइआर भी दर्ज कराने के लिए कहा। 1वह सोमवार को शास्त्री भवन में बेसिक, माध्यमिक, उच्च, प्राविधिक, व्यावसायिक व कृषि शिक्षा विभागों की ओर से किये गए प्रस्तुतीकरणों को देखने के साथ ही संबंधित विभागों के अधिकारियों के साथ शैक्षिक परिदृश्य में सुधार पर चर्चा कर रहे थे। मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में शिक्षा व्यवस्था का स्तर सुधारने के लिए नकल माफिया से निपटना आवश्यक है। इसके लिए सरकार सभी प्रभावी कदम उठाएगी। उन्होंने विद्यालयों में हर हाल में अधिकतम 200 दिनों में कोर्स पूरा कराने के लिए कहा। सभी विद्यालयों में शिक्षकों व छात्रों की नियमित उपस्थिति की निगरानी बायोमीटिक प्रणाली के जरिए करने का निर्देश दिया। उन्हांेने परीक्षाओं को 15 दिन में पूरा करके अगले 15 दिन के अन्दर उनके परिणाम देने की सम्भावना तलाशने के भी निर्देश अधिकारियों को दिए।

धर्म स्थल, स्कूल और बस्ती से 500 मीटर दूर खुलेंगी शराब की दुकानें

लखनऊ : हाईवे से ही नहीं बल्कि धार्मिक स्थल, स्कूल व बस्ती से भी 500 मीटर के दायरे में अब शराब की दुकानें नहीं खुल सकेंगी। 1सुप्रीमकोर्ट के आदेश पर हाईवे से 500 मीटर के दायरे में आने वाली सभी शराब की दुकानें पहली अप्रैल से बंद है। 5300 शराब की दुकानों को अब हाईवे से 500 मीटर की दूरी पर खोलने की कवायद की जा रही है। अब तक खुल चुकी 2100 दुकानों में से कई धार्मिक स्थल, स्कूल व बस्ती में खुलने का
लगातार विरोध हो रहा है। शराब की दुकानों में तोड़फोड़ और आगजनी भी हो रही है। महिलाओं के कड़े विरोध के चलते कई जगह कानून-व्यवस्था की स्थिति बिगड़ने की आशंका है। मुख्यमंत्री ने ऐसी स्थिति को गंभीरता से लेते हुए संबंधित अधिकारियों को धार्मिक स्थल, स्कूल व बस्ती से भी दुकानें 500 मीटर दूर ही रखने के निर्देश दिए हैं। मुख्य सचिव राहुल भटनागर ने सोमवार को ही सभी जिलाधिकारियों और पुलिस अफसरों को आदेश भेज दिया। निर्देश दिए गए हैं कि कोई भी शराब की दुकान धार्मिक स्थल, स्कूल-कालेज और आबादी क्षेत्र में न खुलने दी जाए। इनसे पांच सौ मीटर दूर ही शराब की दुकानें खोली जाएं। आबकारी आयुक्त मृत्युन्जय नारायण ने बताया कि हाईवे से बंद हुई दुकानों में से 2100 दुकानें ही अब तक कहीं और खोली जा सकी हैं। 3214 दुकानें बंद ही हैं। आयुक्त ने बताया कि खुल चुकी 2100 दुकानों में से शासन के निर्देश पर कुछ और बंद हो सकती हैं।

माननीय न्यायमूर्ति दीपक मिश्र जी सिविल अपील 4347 केस से नहीं हटेंगे। हटेंगे तो सिर्फ न्यायमूर्ति खानविलकर जी।

माननीय न्यायमूर्ति दीपक मिश्र जी सिविल अपील 4347 केस से नहीं हटेंगे। हटेंगे तो सिर्फ न्यायमूर्ति खानविलकर जी।

Today's Non tet case order
Date : 03/04/2017 These applications were called on for hearing
today.
CORAM :
HON'BLE MR. JUSTICE DIPAK MISRA
HON'BLE MR. JUSTICE A.M. KHANWILKAR
For Petitioner(s)
Mr. Ajit Kr. Sinha, Sr. Adv.
Mr. Anurag Pandey, Adv.
Ms. Reena Pandey, Adv.
For Respondent(s)
Mr. Vivek Vishnoi, Adv.
Mr. M.R.Shamshad, Adv.
Mr. Zaki Ahmad Khan, Adv.
Mr. Ravi Prakash Mehrotra, Adv.
UPON hearing the counsel the Court made the following
#ORDER
Let this matter be listed before a Bench in which one of us
(Hon'ble A.M. Khanwilkar, J.) is not a Member.
Registry is directed to do the needful.
(Ashok Raj Singh) (Madhu Narula)
Court Master Court Master