साथियों आज जो बात लिख रहा हूँ वो प्रदेश सचिव विशाल श्रीवास्तव नहीं बल्कि एक आम अनुदेशक के नाते लिख रहा हूँ शायद मेरी इन बातो को आप लोग पढ़कर मेरा विरोध करे खैर इस बात का मुझे अब कोई ग़म नहीं ।
सबसे पहले घर पर बैठे अनुदेशक साथियों की जय हो वाह मेरे भाइयों और बहनों घर बैठकर तमाशा देखते रहिये यहाँ संगठन सबके मान,सम्मान और वजूद को बचाने के लिये संघ ने 29 तारीख से अनिश्चित कालीन धरने का आगाज कर चुका है लेकिन अभी तक अनुदेशक संख्या बल का नामोनिशान तक नहीं है ,संगठन हमारे और आपके लिये अनवरत व अथक प्रयाश कर रहा है की इसी चुनावी समय मे कुछ मांगो पर सरकार मोहर लगा दें ।परंतु जो घर बैठकर और संगठन पर आरोप लगाकर बैठे और इंतजार कर रहे जब सबका कुछ होगा तो हमारा क्यों नहीं मै उन साथियों से कहना चाहता हूँ,जिस दिन अनुदेशको का वजूद ख़त्म हो जायेगा उस दिन क्या करोगे आप, इसलिय अभी भी समय है घर,परिवार,और विद्यालय का मोह छोड़कर सिर्फ गिनती मे कुछ दिन के लिय संगठन का साथ दें दीजिये और अगर आप लोगों ने साथ दें दिया तो संगठन आपको विश्वास दिलाता है किसी की औकात नहीं है की अनुदेशको को अनदेखा कर सके इसलिय क्रंतिकारी अनुदेशक साथियों विद्यालय से संघर्ष स्थल पर अयईयो और अपने अधिकारों प्राप्त कर लीजिये क्यों की राज्य सरकार इस समय सिर्फ और सिर्फ संख्या बल देख कर वार्ता के बुलवा रही है ।और उन्हे कुछ ना कुछ दें रही है ।आप जिस तन्मयता और लगन के साथ हम लोग विद्यालय मे अपने कार्य का निष्पादन कर रहे है उसी प्रकार से आप लोग धरने मे आकर अपने कर्तव्यों का निष्पादन करे यही विनती और निवेदन है आप सभी से बाकी आप की मर्जी ।8470 तो मिल ही रहा है ।
मेरे साथियों माफ करियेगा लिखना ज़रूरी था इसलिय इतनी बाते लिखी क्यों की अब शर्म आती है जब माध्यमिक विद्यालयों के कंप्यूटर अनुदेशक मात्र 4000 हजार की संख्या होने बौजूद उनकी माँगे पूरी हो जाती है हम लोग तो लगभग 32000 हजार है ।
धन्यवाद
आपका साथी
अरविन्द गुप्ता (9450428439)
अनुदेशक संघ श्रावस्ती